जाने शिरोधारा क्या होती है और इसके फायदे
आज के भाग-दौड़ भरी जीवन शैली के कारण हर दूसरा व्यक्ति चिंता, थकान, अनिद्रा, अवसाद, याददाश्त की कमी और माइग्रेन आदि मानसिक रोगों से जूझ रहा है। आधुनिकता ने हमारी …
आज के भाग-दौड़ भरी जीवन शैली के कारण हर दूसरा व्यक्ति चिंता, थकान, अनिद्रा, अवसाद, याददाश्त की कमी और माइग्रेन आदि मानसिक रोगों से जूझ रहा है। आधुनिकता ने हमारी …
आयुर्वेद में फलों, सब्जियों और मसालों का उपयोग वात नाशक की तरह प्रयोग करने का बहुत पुराने समय से होता आया है। जो कि वायु को बाहर निकालते हैं और …
प्रायः शरीर में असंतुलन या बीमारी का कारण खान-पान की गलत आदत होता है, हालाँकि हमने अपनी वेबसाइट पर आयुर्वेदिक जीवन शैली के आवश्यक तत्त्वों के बारे में बताया है …
आयुर्वेद के अनुसार यदि सही मात्रा में और ठीक समय पर संतुलित भोजन किया जाए तो कोई बीमार ही न पड़े। परंतु ऐसा नहीं किया जाता है और फिर गैस्ट्रिक …
आयुर्वेद के अनुसार हमारा शरीर अलग-अलग अनुपात में इन पांच चीजो से बना है – पृथ्वी, वायु, जल, अग्नि तथा आकाश ये पांच पदार्थ ही शरीर के तीनों दोषों (त्रिदोष) …
एलोपैथी से होने वाले नुकसान से बचने के लिए आजकल लोग होम्योपैथ और आयुर्वेद का सहारा लेने लगे हैं। इस विषय में आयुर्वेद के पंचकर्म का विशेष महत्त्व है पंचकर्म …
पिछले पोस्ट में हमने वात नाशक आहार यानि वात संतुलित करने वाले खाने पीने के पदार्थो के बारे में बताया था इस पोस्ट में हम कफ तथा पित्त नाशक आहार …
वात रोग में आहार – बढ़ा हुआ वात अत्यधिक चिंता, बेचैनी, नींद में कमी तथा अन्य स्नायु रोग को पैदा करता है | आयुर्वेद संतुलित आहार को बढ़ावा देता है …
वात रोग :- पिछले चार आर्टिकल्स में हमने आपको आयुर्वेद के मूल सिद्धांत यानि “त्रिदोष” के बारे में विस्तार से बताया था जिसमे आयुर्वेदिक तरीके से स्वस्थ जीवन जीने के …
आयुर्वेद के अनुसार प्रत्येक बीमारी त्रिदोष के असंतुलन से पैदा होती है इसलिए आयुर्वेदिक उपचार में मुख्य उद्देश्य वात पित्त कफ के इलाज द्वारा दिमाग तथा शरीर को संतुलित अवस्था …
आयुर्वेद के अनुसार हमारा शरीर पृथ्वी, जल, सूर्य, वायु तथा आकाश से बना है और इन पांचों के असंतुलन होने से ही दोषों की उत्पति भी होती है। वायु और …
पित्त हमारे शरीर में पीले रंग का द्रव है जो पाचन में सहायक होता है तथा इसका संबंध शरीर की गर्मी से है। पित्त एक प्रकार का पाचक रस होता …
हमने पिछले पोस्ट में बताया था की आयुर्वेद के अनुसार किसी व्यक्ति में होने वाले सभी रोगों का प्रमुख कारण वात, पित्त और कफ होता है तथा इनमे से सबसे …